इस बार आसान नहीं होगी मदन कौशिक की राह। आप और कांग्रेस बढ़ाएंगे भाजपा की टैंशन
रिपोर्ट- कुमार दुष्यंत
हरिद्वार में 2022 के विधानसभा चुनाव की सरगर्मियां अभी से दिखने लगी हैं। राजनीतिक दल रोज एकदूसरे के खिलाफ सड़कों पर धरने, प्रदर्शन करते दिखाई दे रहे हैं। कांग्रेस और अन्य दल जिस प्रकार से भाजपा पर हमलावर हो रहे हैं,उससे प्रतीत होता है कि आने वाला चुनाव हरिद्वार में बीस सालों से लगातार विधायक चले आ रहे मदन कौशिक के लिए आसान नहीं होगा। हरिद्वार में मौजूदा विधायक व कैबिनेट मंत्री मदन कौशिक पिछले अठारह सालों से विपक्ष के लिए किसी अभेद्य दुर्ग की तरह बने हुए हैं। 2002 में पहली बार चुनाव जीतने वाले कौशिक तब से निरंतर निर्वाचित होते आ रहे हैं। सिर्फ इतना ही नहीं उनकी जीत का मार्जिन भी हरबार बढ़ता रहा है। लेकिन अब जो हालात बनते दिख रहे हैं।
उससे लगता है कि लगभग डेढ़ साल बाद होने वाले विधानसभा समर में इसबार उनके लिए हालात पहले जितने अनुकूल नहीं होंगे। इसका पहला कारण तो यही है कि राज्य में प्रचंड बहुमत की सरकार होने के बावजूद जनता में मौजूदा सरकार की पुनर्वापसी को लेकर कोई खास उत्साह नहीं है। इसका असर हरिद्वार में भी भाजपा को प्रभावित करेगा। दूसरा प्रमुख कारण यह है कि हरिद्वार में इसबार लगातार भाजपा की प्रतिद्वंद्वी बनी हुई कांग्रेस पहले से कहीं अधिक मजबूती के साथ अपनी चुनौती पेश करने की तैयारी में है। कांग्रेस की चुनौती के साथ ही इसबार आम आदमी पार्टी भी भाजपा की परेशानियां बढ़ाएगी।
आप के जो तेवर हैं उससे यही प्रतीत हो रहा है कि भाजपा ही उसके निशाने पर होगी। आप और कांग्रेस दोनों दल चुनाव में भाजपा और कौशिक की कमजोरियों का प्रचार कर उन्हें घेरने की कोशिश करेंगे। इससे भाजपा प्रत्याशी के सामने चुनाव में दोहरे मौर्चे पर जूझने की चुनौती होगी। हालांकि राजनीति के माहिर खिलाड़ी बन चुके मदन कौशिक के कुशल चुनाव प्रबंधन से पार पाना अब भी विपक्षी दलों के लिए आसान नहीं है। भूमिगत गैस-विद्धुत लाईन, प्रस्तावित मेट्रो, ट्रांजिट रेल, हाईवे, फ्लाईओवर निर्माण जैसी नई उपलब्धियां भी मदन कौशिक के पक्ष में रहेंगी। लेकिन आम आदमी पार्टी और कांग्रेस के उत्साह और सक्रियता को देखते हुए यही लगता है कि हरिद्वार में आने वाला विधानसभा चुनाव फतह करना भाजपा के लिए पहले जितना आसान नहीं होगा।
•विगत चुनाव परिणाम•
2002 – मदन कौशिक (भाजपा) 18962 पारसकुमार जैन (कांग्रेस) 15970
2007 – मदन कौशिक (भाजपा) 44888 पुरुषोत्तम शर्मा (कांग्रेस) 14286
2012 – मदन कौशिक (भाजपा) 42245 सतपाल ब्रह्मचारी (कांग्रेस) 33642
2017 – मदन कौशिक (भाजपा) 61541
ब्रह्मस्वरूप ब्रह्मचारी (कांग्रेस) 25739