पिथौरागढ़, विभिन्न संस्कृतियों के विकास के लिए राजकीय संग्रहालय एवं ऑडिटोरियम को बनाया गया था। इसमें नियम विरुद्ध हो रहे कार्यों पर रोक लगाने और आवंटन की जांच उच्च न्यायालय के सीटिंग न्यायाधीश से कराने की मांग को लेकर स्थानीय युवा मुखर हो गए हैं।
जिला अधिकारी को दिए ज्ञापन में युवा सुशील खत्री ने मांग करते हुए कहा कि, जिले के सोर, गंगा वली, नागवंशी, शोका, रजनजाति , वन राजी जनजाति असकोटिया सहित विभिन्न संस्कृतियों के संरक्षण व विकास के लिए संग्रहालय एवं ऑडिटोरियम का निर्माण किया किया गया था। जिसे आज शराब का बार बनाने पर एक चिंतनशील समाज के लिए कचोटने वाला प्रसंग है।
उन्होंने संग्रहालय एवं ऑडिटोरियम में अवैध निर्माण पर रोक, आवंटन की जिला स्तरीय समिति बनाकर जांच तथा माननीय उच्च न्यायालय नैनीताल के सीटिंग न्यायाधीश से जांच कराने के लिए शासन को प्रस्ताव भेजने की मांग की है ।
उन्होंने कहा कि, आवंटन को सत्ता का संरक्षण प्राप्त है इसलिए शासन और सरकार से न्याय किए जाने की उम्मीद नहीं है।
खत्री ने जिलाधिकारी से एक सप्ताह में उत्तर ना मिलने पर जनहित में सक्षम न्यायालय में वाद दायर करने की बात कही और कहा कि इसकी जिम्मेदारी जिला प्रशासन की होगी।