मामला उत्तरकाशी जिले का है। यहां प्रशासन ने तीन साल और 6 माह के भाई-बहिन पर लाॅकडाउन का उल्लंघन में मुकदमा कर अग्रिम कार्रवाई करने की बात कही गई। सूची में कई लोगों के नाम शामिल हैं, जिन पर मुकदमा दर्ज किया गया। इससे अंदाजा लगाया जा सकता है कि प्रशानिक अधिकारी किस तरह से लापरवाह बने हुए हैं।
पंचकूला हरियाणा से लाॅकडाउन के दौरान अनिल का परिवार न्यूखालसी आया था। डुंडा तहसील से जो सूची तैयार की गई है। उसमें तीन साल और 6 माह के भाई-बहिन के नाम भी शामिल किए गए हैं। जो अपने आप में बड़ा मामला है। यह मामला सीधे-सीधे जेजे एक्ट के उल्लंघन का है।
इस संबंध में जिला पंचायत अध्यक्ष उत्तरकाशी दीपक बिजल्वाण का कहना है कि जिस स्तर पर भी यह गलती हुई है, उन पर कार्यवाही होनी चाहिए। साथ ही बाल संरक्षण आयोग को भी मामले का संज्ञान लेकर कार्यवाही करनी चाहिए। इतने छोटे बच्चों को क्या पता कि समाज में क्या चल रहा है। अधिकारियों को मानवीय दृष्टिकोण को भी ध्यान में रखकर ही कार्यवाही करनी चाहिए।
जिला पंचायत सदस्य संगठन के प्रदेश अध्यक्ष प्रदीप भट्ट ने प्रशासन पर जेजे एक्ट के उल्लंघन का आरोप लगाया है। उन्होंने कहा कि एक ओर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी बच्चों की सुरक्षा को लेकर बेहद गम्भीर है साथ ही राज्य एवं केंद्र सरकार द्वारा बच्चों के कल्याण के लिए बहुत सारी योजनाएं चलाई जा रही है।
श्री भट्ट ने गृह मंत्रालय और बाल अधिकार संरक्षण आयोग से मामले का संज्ञान लेने का आग्रह किया है। उनका कहना है कि इस तरह के लापरवाह अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई होनी चाहिए। वहीं, एसडीएम डुंडा आकाश जोशी का कहना है कि ऐसा कोई मामला नहीं है। जबकि पूरी रिपोर्ट उन्हीं की देख-रेख में तैयार की गई है।
डीएम ने कोविड मजिस्ट्रेट सिंचाई विभाग के सहायक अभियंता को निलम्बित कर दिया है