स्टोरी(कमल जगाती, नैनीताल):- ऊत्तराखण्ड उच्च न्यायालय में नैनीताल के ट्रैफिक संबंधी जनहित याचिका में मुख्य न्यायाधीश की खंडपीठ ने अशोक दोमंजिली पार्किंग के निर्माण पर रोक लगा दी है। मुख्य न्यायाधीश ने शुक्रवार सवेरे शहर में ट्रैफिक समस्या जानने के लिए खुद जायज़ा लेने का मन बनाया है। शुक्रवार सवेरे मुख्य न्यायाधीश के साथ एक कमिटी सड़कों का दौरा करेगी।
नैनीताल में ट्रैफिक जाम की समस्या से सभी अवगत हैं। इससे निबटने के लिए उच्च न्यायालय ने इस मुद्दे को नैनीताल की एक पी.आई.एल.अजय रावत बनाम यूनियन ऑफ इंडिया से जोड़ दिया है। पिछली सुनवाई में मुख्य न्यायाधीश जे नरेंद्र और न्यायमूर्ति आलोक मेहरा की खंडपीठ ने आई.आई.एम.के प्रोफेसर को उपस्थित होने और पुलिस से ट्रैफिक परेशानी और समाधान की हिंदी कॉपी को ट्रांसलेट करके लेन को कहा था। न्यायालय ने प्रशासन द्वारा अशोक पार्किंग में ठेकेदार नियुक्त कर दोमंजिली पार्किंग निर्माण पर सोमवार तक रोक लगा दी है। नगर पालिका ने संवाल उठाया था कि उनकी भूमि उनकी है जबकि वहां कार्य प्रशासन अपने ठेकेदार से करा रहा है। आई.जी.कुमाऊं की तरफ से अनियंत्रित ट्रैफिक के नियंत्रण के लिए एक्शन प्लान रखा गया। मुख्य न्यायाधीश ने कहा कि पुलिस हफ्तेभर से ज्यादा समय से सड़क पर पार्क की गई गाड़ी को अनाउंसमेंट करके तीन दिन बाद टो करलो और मालिक के आने पर उससे टोइंग का खर्च लो। कहा कि इन गाड़ियों को पार्क करने के लिए पब्लिक नोटिस जारी कर प्राइवेट भूमिधारकों से पूछें कि अगर कोई अपनी जमीन इन वाहनों को रखने के लिए लीज पर देना चाहता है। उन्होंने, वर्चुअली उपस्थित आई.आई.टी.के प्रोफेसर चक्रवर्ती से पूछा कि नैनीताल की वेट बेअरिंग कैपेसिटी बताई जा सकती है क्या ? इससे हम गाड़ियों के प्रवेश को रेग्युलेट कर देंगे। इसके लिए जीओलॉजिकल सर्वे ऑफ इंडिया(जी.एस.आई.)से मदद ले सकते हैं। सी.जे.ने कहा कि रूसी बाईपास व अन्य पार्किंगों में बायो टॉयलेट, माइक्रोफोन स्पीकर, सी.सी.टी.वी., पुलिस सुरक्षा, खानपान की व्यवस्था की जाए। रानीबाग में शटल हब बनाकर पूरा ट्रैफिक वहां से कंट्रोल किया जा सकता है। अगर सही से उस 35 एकड़ जमीन का इस्तेमाल करेंगे तो नैनीताल और आसपास की पार्किंग समस्या हल हो जाएगी। रानीबाग में सी.सी.टी.वी.कैमरे लगाकर माइक स्पीकर सिस्टम से आसानी से ट्रैफिक कंट्रोल किया जा सकता है। पुलिस प्रतिदिन के वाहनों की संख्या गिनकर एक सर्वे करे। लांग टर्म सस्टेनेबल ट्रैफिक प्लान बनाया जाए। एस.पी.जगदीश चंद्र व्यक्तिगत रूप से उपस्थित रहे, जबकि एस.एस.पी.वर्चुअल हाजिर हुए। होटलों के कमरों की संख्या का सटीक जानकारी जुटाएं।
सी.एस.सी.चंद्रशेखर सिंह रावत ने कहा आज हम कुमाऊं विश्वविद्यालय के वी.सी.से प्रार्थना करके कुमाऊं विश्वविद्यालय कैम्पस में टो करी गाड़ियों को पार्क करेंगे। कहा कि बाहर बनाई पार्किंग में पुलिस सुरक्षा तैनात की गई है। उन्होंने ये भी कहा कि भीड़ के दौरान 5 फेज का प्लान बनाया गया है। पहले खाली होने पर गाड़ियां पार्किंग तक जाएंगी। भरने पर रूसी में रोककर शटल से भेजेंगे। फिर काठगोदाम और कालाढूंगी में गाड़ियां रोकेंगे। ड्रोन से नजर बनाई जाएगी।
आई.आई.टी.के प्रोफेसर चक्रवर्ती ने वर्चुअली उपस्थित होकर कहा कि पुलिस के साथ कैंचीं धाम, नैनीताल, काठगोदाम, भवाली, सेनेटोरियम, भीमताल आदि का निरीक्षण किया। होटल और होमस्टे के लिए नियम लागू होने चाहिए। कैंचीं धाम में कैमरे लगाएंगे। ट्रैफिक को काठगोदाम और कालाढूंगी में अच्छी पार्किंग बनाकर रेग्युलेट करना चाहिए। रानीबाग से ज्युलिकोट और हनुमानगढ़ के लिए रोप वे की व्यवस्था हो। पर्यटन, लोक निर्माण विभाग, राजस्व आदि विभागों को साथ चलकर सुविधाजनक व्यवस्था तलाशनी चाहिए। हम शार्ट टर्म ट्रैफिक प्लान आई.जी.कुमाऊं को 7 दिनों में सौंपेंगे। बताया कि सेंटर रोड रिसर्च इंस्टीट्यूट(सी.आर.आर.आई.)इसपर काम करता है। पी.आई.एल.में नैनीताल होटल एंड रेस्टोरेंट्स एसोसिएशन, प्रांतीय उद्योग व्यापार मंडल तल्लीताल और प्रांतीय उध्योग व्यापार मंडल मल्लीताल को भी पार्टी बनाया गया है।
सोमवार को आई.आई.टी.बताएगी की किसके साथ कोर्डिनेशन कर लोड बेयरिंग कैपेसिटी
अगली सुनवाई सोमवार को होगी।
नगर पालिका के अधिवक्ता देवेंद्र पाटनी ने बताया कि अशोक पार्किंग में अभी 90 गाड़ियां खड़ी होती थी और अब वहां 5.26 करोड़ की लागत से दो मंजिला कॉन्क्रीट पार्किंग बनाई जा रही है। इसके बाद वहां 110 गाड़ियां पार्क हो सकेंगी। केवल 20 गाड़ियों के लिए इतना रुपया खर्च हो रहा है। इसपर न्यायालय ने पूछा कि सरकार पालिका की जमीन पर कैसे निर्माण कर रही है ? तो सी.एस.सी.ने कहा कि उन्होंने केवल रुपया और एजेंसी उपलब्ध कराई है। उन्होंने कहा कि सेनेटोरियम में सुपर स्पेशलिटी हॉस्पिटल बनाया जा सकता है। मेडिकल व्यवस्था ठीक करने के लिए भवाली के सेनेटोरियम में 45 एकड़ भूमि है, जिसके लिए इस न्यायालय से एक आदेश जारी हुआ था। न्यायालय ने कहा कि पहले ट्रैफिक की समस्या को ठीक कर लें, फिर इसे देखेंगे।
बाईट :- अधिवक्ता मेधा पाण्डे, न्याय मित्र।