पुरोला।
टौंस वन प्रभाग पुरोला ने विश्व वानिकी दिवस पर बीएल जुवांठा राजकीय महाविद्यालय के छात्रों व एनएसएस स्वयंसेवकों के साथ प्रकृति की सुरक्षा को वनों-वन्य जीवों व पर्यावरण को बचाने का संकल्प लिया।
कार्यशाला में टौंस वन प्रभाग की रेंज अधिकारी अमिता चौहान ने वानिकी दिवस के बारे में जानकारी देते हुए कहा कि मनुष्य की भूख व लालच ने प्रकृति को खतरे में डाल दिया है जिस कारण लगातार जलवायु परिवर्तन,ग्लोबल वार्मिंग,ग्लेशियरों का पिघलना जैसी आए दिन विकट समस्याएं पैदा हो रही हैं,अगर अभी भी मनुष्य नहीं चेता तो पृथ्वी-प्रकृति व जीव जंतुओं का अस्तित्व खतरे में पड़ जाएगा।
उन्होंने कहा कि, वानिकी के तीन महत्वपूर्ण तत्व सुरक्षा,उत्पादन,वन विहार को लेकर ही विश्व वानिकी दिवस चुना गया है| विशेषज्ञों के मतानुसार जंगल वस्तु एक ऐसा जीवित समुदाय है जहां कई प्रकार के जीव-जंतु, कीट-पतंगे एक दूसरे पर निर्भर हो जीवन बिताते हैं, किंतु इसी प्रकार अंधाधुंध वनों के कटान से प्रकृति का संतुलन बिगड़ जाएगा,ऑक्सीजन,शुद्ध हवा पानी समाप्त हो जाएगी व प्रत्येक जीव का अस्तित्व खतरे में पड़ जाएगा।
रेंज अधिकारी ने छात्रों से प्रकृति को बचाने का संकल्प लेकर मानव जीवन सुरक्षा को लेकर घर घर गांव गांव जाकर लोगों को सचेत कर प्रकृति संरक्षण का आह्वान किया।
इस अवसर पर महाविद्यालय के प्राचार्य डा0 गणेश रतूडी,डॉ0 फातिमा खान,राजेंद्र लाल आर्य,कृष्णदेव रतूड़ी,रेंजधिकारी अमिता चौहान, अमीन सिंह चौहान,हरिकृष्ण पंवार, प्रेम सिंह पंवार,चतर सिंह रावत, मनमोहन सिंह समेत एनएसएस के छात्र-छात्राएं मौजूद थे।