इंद्रजीत असवाल
सतपुली पौड़ी गढ़वाल
सतपुली में उत्तराखंड के पर्यटन मंत्री सतपाल महाराज ने 20 अगस्त 2020 को सतपुली में एक पर्यटक अतिथि गृह व बहुउद्देश्यीय हॉल का शिलान्यास किया था , लेकिन लगता है हाथी के दांत खाने के और दिखाने के और वाली कहावत इस पर सही बैठती है।
महाराज ने कहा था कि ये पर्यटक अतिथि गृह परम्परागत पहाड़ी शैली जिसमे तिबरी,डण्डयाली मोरी का समावेश किया जाएगा ।
आज एक साल बीत जाने के भी इसका बेस तक तैयार नही हुआ।जैसे शिलान्यास के दिन था वैसे ही आज भी है ,जिस पर स्थानीय लोगो ने नाराजगी जताई है।
लोगो का कहना है कि महाराज की घोषणायें केवल घोषणाओं तक ही सीमित है, धरातल से उसका कोई लेना देना नही है।
जानकारी मिली है कि कार्यदायी संस्था को पेमेंट न होने के कारण कार्य बन्द पड़ा है।
जगदीश बिष्ट पूर्व प्रधान औडल ने कहा कि इस निर्माण के लोगों द्वारा गांव के निवासियों को डराया जा रहा है और कहा जा रहा है कि यहाँ घास काटने या घूमने क्यों आ रहे हो । निर्माण कार्य कई महीनो से बंद पड़ा है जिसके लिए मेरे द्वारा सतपाल महाराज को पत्र लिखा गया लेकिन उनके द्वारा अभी तक कोई जवाब नहीं दिया ।
राज्य आंदोलनकारी विनोद धस्माना के कहा कि भाजपा को जनता उनकी घोषणाओं का जबाब 2022 में देगी।
उनका कहना था कि कहा सतपुली की झील गई, कहा खैरा सैन की झील गई।
सतपुली का महाविद्यालय आज भी इंटर कालेज की बिल्डिंग में चल रहा है। धर गांव में आधी बनी डिग्री कॉलेज की बिल्डिंग ओर खैरा सैन में निर्मित डिग्री कॉलेज की बिल्डिंग , उखलेत में 2017 में नब्बे प्रतिशत निर्मित पॉलोटेक्निक भवन इन सबका जबाब भाजपा को जनता 2022 में ढंग से देगी।