स्टोरी(कमल जगाती, नैनीताल):- उत्तराखण्ड उच्च न्यायालय ने उत्तरकाशी के बड़कोट में पानी की समस्या से निजात दिलाने संबंधी पी.आई.एल.में सचिव पेयजल और निदेशक पेयजल को तीन सप्ताह के भीतर जवाब देने को कहा है। कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश मनोज कुमार तिवारी और न्यायमूर्ति विवेक भारती शर्मा की खण्डपीठ ने यह भी कहा है कि जवाब प्रस्तुत नहीं करने पर निदेशक पेयजल अगली सुनवाई को कोर्ट में स्वयं उपस्थित रहें। अब मामले की अगली सुनवाई तीन सप्ताह बाद होगी। पूर्व में न्यायालय ने राज्य सरकार सहित पेयजल निगम से इसपर विस्तृत शपथपत्र पेश करने को कहा था, लेकिन अबतक जवाब दाखिल नहीं किया गया है। न्यायालय ने पुर्व में टिप्पणी करते हुए कहा था कि यह समस्या पूरे राज्य की है।
मामले के अनुसार बड़कोट निवासी पत्रकार सुनील थपलियाल ने जनहित याचिका दायर कर कहा कि बड़कोट में पानी की बहुत समस्या हो रही है, जिसको लेकर क्षेत्रवासी पिछली 6 जून से तहसील परिसर में क्रमिक अनशन पर बैठे हैं। क्षेत्रवासी टैंकरों से पानी लाकर परेशान हो रहे हैं। जबकि 500 मीटर की दूरी पर नदी है। प्रसाशन ने अभी तक उनकी इस समस्या का समाधान करने में कोई मदद नहीं की है।