उत्तराखंड उच्च न्यायालय ने एक जनहित याचिका पर सुनवाई करते हुए प्रदेश के निर्माणाधीन हाइड्रो पावर प्रोजेक्ट पर रोक लगा दी है।
हाई कोर्ट ने यह रोक रुद्रप्रयाग की हिमाद्रि जन कल्याण संस्थान की जनहित याचिका पर लगाई है। वरिष्ठ न्यायाधीश राजीव शर्मा और न्यायमूर्ति लोकपाल सिंह ने प्रदेश के सभी जिलाधिकारियों को निर्देश दिए हैं कि मलबे का निस्तारण भी नदियों से 500 मीटर की दूरी पर ही किया जाए।
कोर्ट ने निर्देश दिए कि यदि इसका उल्लंघन हुआ तो जिलाधिकारी व्यक्तिगत रूप से दोषी माने जाएंगे। याचिकाकर्ता संस्था के वकील कार्तिकेय हरि गुप्ता के अनुसार यह जनहित याचिका नदियों में अवैध रूप से मलवे के निस्तारण पर रोक लगाने के लिए की गई थी। उन्होंने न्यायालय से पर्यावरण संरक्षण और संतुलित विकास के मद्देनजर दिशा निर्देश जारी करने का अनुरोध किया था।