फर्जी और झोलाछाप डॉक्टर प्रदेश की स्वास्थ्य व्यवस्थाओं के ऊपर पलीता लगाने का काम कर रहे हैं कल ऐसा एक मामला सामने आया जब कुछ फर्जी डॉक्टर एसटीएफ द्वारा पकड़े गए।
भारतीय चिकित्सा परिषद की राजिस्ट्रार ने फर्जीवाड़े पर सख्त रुख अख्तियार करते हुए कहा कि विभाग के द्वारा इससे पहले भी फर्जी डॉक्टरों पर कड़ी कार्यवाही की गई है। आपको बता दें कि 2021 में 4 फर्जी डॉक्टर पर चिकित्सा परिषद द्वारा बड़ी कार्रवाई हुई थी और यह प्रक्रिया सतत रुप से अभी भी जारी है।
भारतीय चिकित्सा परिषद की रजिस्ट्रार नर्मदा गुसांई ने कहा कि प्रदेश के लोगों के स्वास्थ्य के साथ कोई खिलवाड़ नहीं होने दिया जाएगा प्रदेश को जल्द फर्जी डॉक्टरों से मुक्त करवाया जाए और इसी दिशा में उनका यह प्रयास सतत रूप से जारी हैं।
उन्होंने यह भी कहा कि विभाग में पंजीकरण के अलावा कानूनी रूप से भी इन अभ्यर्थियों का पुलिस वेरिफिकेशन होना चाहिए जिससे कि ऐसे मुन्ना भाई डॉक्टर प्रदेश की स्वास्थ्य व्यवस्थाओं पर पलीता न लगा सके।
कुछ मीडिया चैनलों के द्वारा यह भी कहा गया था कि विभाग के द्वारा सहयोग नहीं किया जा रहा हैl इस पर राजिस्ट्रार ने कहा कि विभाग के द्वारा सहयोग नहीं किया जा रहा है ?इस प्रश्न पर रजिस्ट्रार ने कहा कि स्वयं चाहती हैं कि पूर्ण पारदर्शिता हो क्योंकि स्वास्थ्य अहम मुद्दा है इसके साथ किसी भी प्रकार की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी।
आगे उन्होंने कहा कि प्रदेश में जितने भी फर्जी मुन्ना भाई डॉक्टर बनकर स्वास्थ्य सेवाओं को पलीता लगाने का काम कर रहे हैं उन्हें बख्शा नहीं जाएगा और विभागीय कार्रवाई के साथ-साथ उनके विरुद्ध कानूनी कार्रवाई भी अमल में लाई जाएगी।