उत्तराखंड अधीनस्थ सेवा चयन आयोग ने 2020 में 1431 पदों पर सहायक अध्यापक एल.टी की भर्ती आयोजित की थी।
इस भर्ती के लिए 08/08/2021 रविवार को परीक्षा कराई गईं थी । /12/2021 को आयोग ने इसका रिजल्ट निकाला था,लेकिन आज तीन साल बाद भी ये भर्ती पूरी नहीं हो सकी।
एलटी भर्ती परीक्षा के अभ्यर्थियों का अधीनस्थ चयन आयोग और शिक्षा विभाग के मंडलीय अधिकारियों के बीच फुटबाल सा बन गया है।
आखिर क्यों रिजल्ट आने के बाद भी भर्ती पूरी नहीं हुई यह हम आपको बताते हैं।
दरअसल, रिजल्ट आने के बाद गढ़वाल और कुमाऊं मंडल में अभिलेख सत्यापन में 51 लोग अनुपस्थित थे। जब 51 लोग गढ़वाल और कुमाऊं मंडल में अभिलेख सत्यापन में अनुपस्थित रहे जिसका मतलब साफ है कि 51 लोग जो वेटिंग में है उन्हें इस भर्ती के लिए मौका दिया जाना था।
जानकारी मिलने पर, अभ्यर्थियों ने आयोग से अनुपस्थित अभ्यर्थियों के पदों को श्रेष्ठता सूची से अग्रिम अभ्यर्थियों द्वारा भरने के लिए निवेदन किया गया।
तब आयोग ने कहा कि इन पदों के सन्दर्भ में उनको कोई भी सूचना गढ़वाल एवं कुमाऊं मण्डल द्वारा अभी तक नही दी गई है। इन पदों पर कार्यवाही मण्डल से जानकारी आने के बाद ही की जायेगी।
उसके बाद अभ्यर्थियों ने गढ़वाल और कुमाऊं मंडल से संपर्क किया तो उन्होंने कहा कि,नियमानुसार उत्तराखण्ड अधीनस्थ सेवा चयन आयोग द्वारा विज्ञापित पदों के सापेक्ष चयन संस्तुति उपलब्ध नही हुयी है ,होने के पश्चात ही मण्डल से अभिलेख सत्यापन में अनुपस्थित पदों को भरने की कार्यवाही की जायेगी।
अब सरकारी कर्मचारियों/अधिकारियों के काम में इतनी लापरवाही है जिसके बीच में बेचारा अभ्यर्थी पीस जा रहा है।
इसको लेकर पर्वतजन ने कुमाऊं और गढ़वाल मंडल से बात की तो कुमाऊं मंडल के एडिशनल डायरेक्टर लीलाधर व्यास ने बताया कि हमारे यहां से एलटी वेटिंग के लिए लिस्ट आयोग को भेज दी गईं हैं।
वहीं गढ़वाल के एडिशनल डायरेक्टर एस बी जोशी ने बताया कि, हमारे यहां से दो या तीन दिन में एलटी वेटिंग की लिस्ट आयोग को भेज दी जाएगी। त्योहारों के चलते और मैन पॉवर कम होने के कारण वेटिंग लिस्ट भेजने में देरी हो गई।
अब देखना होगा कि क्या यह भर्ती पूरी हो पाएगी या रोजगार का इंतजार कर रहे अभ्यर्थी यूं ही आयोग और शिक्षा विभाग के मंडलीय अधिकारियों के बीच फुटबॉल बनते रहेंगे।
और गजब बात तो ये हैं कि अभी 3 साल पहले भर्ती आयोग ने पूरी नहीं की और अब आयोग एलटी की नई भर्ती निकलने वाला है। अब देखने वाली बात तो यह भी होगी कि क्या आयोग उस भर्ती को पूरा कर पाएगा!