कांग्रेस के लिए आसान नहीं होगी 2022 की राह। गुटबाजी डुबोयगी की लुटिया
रिपोर्ट- अनुज नेगी
देहरादून। सत्ता वापसी को लेकर इन दिनों कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष प्रीतम सिंह का गढ़वाल दौरा जारी है। वही दूसरी और कांग्रेस के लिए 2022 में राह आसान नही दिख रही है। आने वाले विधानसभा चुनाव में गुटबाजी ही कांग्रेस की लुटिया डूबा सकती है। सत्ता वापसी को लेकर कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष प्रीतम सिंह का गढ़वाल दौरा जारी है, मगर दूसरी ओर विधानसभाओं में कांग्रेस के नेताओं में गुटबाजी देखने को मिलने लगी है जिसका खामियाजा कांग्रेस को आने वाले विधानसभा उठाने पड़ेगा।
बतादें कि, कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष प्रीतम सिंह 16 नवंबर से चार दिवसीय गढ़वाल दौरे पर है। वही दूसरी ओर कांग्रेस के नेताओं में अपनी-अपनी विधानसभाओं में साफ गुटबाजी देखने को मिलने लगी है। प्रदेश अध्यक्ष प्रीतम सिंह ने 16 नवंबर को कोटद्वार दुगड्डा गुमखाल व सतपुली में कार्यक्रमों में भाग लिया। जिसमे कांग्रेस कार्यकर्ताओं में भारी जोश देखने को मिला, मगर जब-जब प्रदेश अध्यक्ष यमकेश्वर विधानसभा के गुमखाल पहुंचे तो द्वारीखाल ब्लॉक अध्यक्ष महेन्द्र राणा और यमकेश्वर विधानसभा से पूर्व में कांग्रेस सीट पर चुनाव लड़ चुके शैलेन्द्र रावत के कार्यकर्ताओं में जमकर गुटबाजी देखने को मिली है, जिसका सीधा फायदा बीजेपी को आने वाले विधानसभा चुनाव में मिलने वाला है।
वही जब प्रीतम सिंह चौबट्टाखाल विधानसभा के सतपुली पहुंचे तो वहाँ भी साफ-साफ गुटबाजी देखने को मिली, जहां एक ओर कांग्रेस सीट पर लगातार दो बार हार का सामना करने वाले राजपाल बिष्ट और वही दूसरी ओर गढ़वाल लोकसभा सीट हारे मनीष खंडूड़ी के कार्यकर्ताओं में जमकर गुटबाजी देखने को मिली जिसका फायदा सीधे बीजेपी को मिलने वाला है। अगर भविष्य में कांग्रेस में इसी तरह से गुटबाजी देखने को मिली तो बीजेपी को इस सीट पर हैट्रिक लगाने से कोई नही रोक सकता। अगर कांग्रेस में इसी तरह गुटबाजी रही तो 2022 की राह कांग्रेस लिए आसान नही होगी।