स्टोरी(कमल जगाती, नैनीताल):-
उत्तराखंड के सातताल में झील किनारे कई पेड़ों को काटकर झील का सौन्दर्यकरण करने के खिलाफ क्षेत्रवासियों ने विरोध का बिगुल फूंक दिया है ।
नैनीताल जिले की एक खूबसूरत प्राकृतिक पहाडी झील, सातताल में प्रदेश सरकार के सौंदर्यकरण के नाम पर झील के किनारे बोट स्टैंड, दुकान, पार्क सहित अन्य चीजों का निर्माण किया जा रहा है ।
इस बदलाव का वहां के स्थानीय लोग विरोध कर रहे हैं । उनका कहना है कि नैनीताल जिले का ये एकमात्र ताल है जो चारो ओर घने जंगल से ढका हुआ है, यहां सैकड़ो दुर्लभ वन्यजीवों का वास है । यहां की पहचान पक्षियों की चहचहाहट है । इसे कंक्रीट के जंगल मे तब्दील करने की शुरुआत हो चुकि है । झील के किनारे के क्षेत्र को सौंदर्यीकरण, पार्किंग, चिल्ड्रन पार्क, गार्डन, दुकान बनाने के बहाने का कई पेड़ों को काट जा रहा है और कॉन्क्रीट का जंगल बनाया जा रहा है ।
ये क्षेत्र दुर्लभ प्रजातियों के पक्षियों की मौजूदगी के कारण बर्ड वॉचिंग के लिए विश्व में अपनी अच्छी पहचान रखता है । राज्य सरकार ने 7 करोड़ रुपये से इस क्षेत्र का सौंदर्यीकरण करने का प्लान बनाया है, लेकिन स्थानीय लोग प्रकृति को बचाने के लिए एकजुट हो गए हैं।