रिपोर्ट इंद्रजीत असवाल पौड़ी गढ़वाल
बात यदि उत्तराखंड पुलिस की हो तो हर जगह पर बड़े बड़े बोर्डो पर अंकित रहता है कि आपकी सेवा में ततपर उत्तराखंड मित्र पुलिस और यदि हकीकत देखी जाय तो कई मौकों पर पुलिस मित्र कम शत्रु पुलिस ज्यादा दिखती नजर आती है। यह हम इसलिए कह रहे हैं जांच के नाम पर पुलिस महीनों छोड़िए सालों लगा दे उसके बाद भी एफ आई आर तक दर्ज ना हो पाए और पीड़ित न्याय की आस लगाए बैठे बैठे डिप्रेशन में चला जाए तो इसे मित्र पुलिस कहें या शत्रु पुलिस l
बात कोटद्वार पुलिस की है जहाँ पर एक पत्नी से पीड़ित सुनील रावत जो एकेश्वर ब्लाक के ग्राम गुराड तला के रहने वाले के द्वारा लगभग तीन साल पहले 3़.4 .2019 को कोटद्वार कोतवाली में तहरीर लेकर पहुंचता है जिसमें लिखा होता है कि उसके साथ उसकी पत्नी द्वारा धोखा किया गया है और अपनी जान को खतरा बताते हुए पुलिस से कार्यवाही की मांग करता है पुलिस के तत्कालीन SHO मनोज रतूड़ी द्वारा पीड़ित की तहरीर का संज्ञान लेते हुए जांच के आदेश कर दिए 3 महीने नहीं 3 साल बीत जाने के बाद भी पता नहीं चला कि जांच कहां तक पहुंची
, इस बीच पुलिस ने रिपोट भी दर्ज नही की l
थका हारा पीड़ित अपना दुखड़ा लेकर हर उस दरवाजे पर गया जहां उसे उम्मीद की किरण नजर आई मगर हरेक ने उसे लूटा।
वही पीड़ित की मुलाकात हिंदूवादी नेता संजय थपलियाल से हो गई , हिंदूवादी नेता संजय थपलियाल ने पर मदद करने के नाम पर पीड़ित से एक लाख रुपये ले लिया और चुप्पी साध लीl
आखिरकार थका हारा पीड़ित लास्ट उम्मीद लेकर देहरादून में मीडिया के पास पहुचा और अपना दुखड़ा सुनाया l
उत्तराखंड की नमःबर वन डिजिटल मीडिया पहाड़ टीवी ,पर्वतजन द्वारा पीड़ित की खबर को दिखाने पर तीन साल बाद पुलिस ने आरोपियों पर विभिन्न धाराओं में (498, 406, 420, )मुकदमा दर्ज कर लिया।
अपर पुलिस अधीक्षक कोटद्वार शेखर चंद्र सुयाल ने बताया कि पहले भी पुलिस ने जांच की ,लेकिन अब पीड़ित ने अन्य आरोप भी लगाए हैं इसलिये पुनः केस की जांच की जा रही है l
अब बात पते की ये है कि पुलिस ने पहले रिपोर्ट दर्ज क्यो नही की ,अब जब मीडिया में खबर चली तो तत्काल रिपोर्ट दर्ज कैसे हुईl