उत्तराखंड, ऊ. सि. नगर
रिपोर्ट/किच्छा – दिलीप अरोरा
कोविड गाइड लाइन के अनुसार आज के दिन पूर्ण कर्फ्यू लगाया जाता है और इसके लिए प्रशासन भी इस नियम का सख़्ती से पालन करवाता है।
कोविड के संक्रमण को रोकने के लिए सोशल डिस्टेंसिंग और मास्क को बेहद जरूरी माना गया है और इसलिए प्रशासन स्तर पर भी इसके लिए जागरूकता अभियान किसी न किसी रूप में पाया जाता रहा है ।
बावजूद इसके लोग है कि समझने को तैयार ही नहीं दिखते और प्रतिदिन शहर मे ऐसे नियमों की हर जगह धज्जियाँ उड़ती नजर आ जाती है।
आज पूर्ण कर्फ्यू का दिन था तो आज शहर में जहां आज लगभग सभी दुकानें बंद होनी चाहिए थी तो वही इसका उल्टा ही दिखा।
आज शहर किच्छा में वह भी दुकाने खुली जिनको और दिन भी परमिशन नहीं है।जिनमे कपड़े की दुकाने चूड़ी की दुकाने, चने परमल की दुकाने और किराने की दुकाने मिठाई की दुकाने भी शामिल दिखी।
यही नहीं किच्छा व्यापार मंडल के पूर्व महामंत्री ने भी नियमों की धज्जियाँ उड़ाने मे कोई कमी नहीं छोडी। शहर के नैनीताल बैंक गली स्थित उनकी दुकान श्यामजी गारमेंट्स सुबह 10:30 तक खुली दिखी और साथ ही उस पर आधा शटर बंद रखकर दुकान खुली दिखी और प्रशासन की निगरानी और शटर ऊपर निचे करने के लिए एक लड़का भी बहार खड़ा दिखा जो फोटो खींचते टाइम कैमरे के सामने आगे आ गया।
यही नहीं मेन बजार और पुराना अस्पताल रोड पर भी किराने की कुछ दुकाने खुली दिखी तो कुछ दुकानों के बहार उनके मालिक बैठे दिखे।और इतना ही काफ़ी होता तो शायद आज खबर नहीं बनती लेकिन जैसे जैसे कैमरा चलता रहा वैसे वैसे नियम तार तार होते रहे।
पुराना अस्पताल रोड पर किराने की दुकानों के साथ आधा शटर बेकरी की दुकानों का भी दिखा और इसमें से भी लोग अंदर और बाहर आते जाते दिखे।इसके बाद रेलवे क्रॉसिंग फाटक के पास भी भीड़ देखने को मिली और चने परमल और सब्जी की दुकानों पर शोशल डिस्टेंसिंग की धज्जियाँ उड़ती दिखी।
समझ नहीं आता की प्रशासन नियमों का पालन कराने मे असमर्थ है या फिर लोग ही जिद्दी हो गए है। बरहाल तो नियमों की धज्जियाँ उड़ना जारी है।