विशाल सक्सेना
पिथौरागढ़ उत्तराखण्ड में शिक्षा व्यवस्था को लेकर सरकारों द्वारा बेशक बड़े-बड़े दावे किए जाते हों,लेकिन धरातल पर हकीकत अजब गजब ही है ।
अब मामला पिथौरागढ़ के सिरमौली के जिला पंचायत सदस्य जगत मर्तोलिया ने विधानसभा अध्यक्ष रितु खंडूरी को ईमेल के माध्यम से एक पत्र भेजकर मांग की।
उन्होंने पत्र में कहा कि विधायक निधि की समस्त धनराशि से सरकारी विद्यालयों में गेस्ट टीचर रखें जाएं ।
कहा कि उत्तराखंड में प्राथमिक से लेकर माध्यमिक तक सरकारी विद्यालयों में शिक्षकों के रिक्त पदों के चलते शिक्षा व्यवस्था चौपट है ।
लिखा कि सरकारी विद्यालयों में शिक्षकों के सैकड़ों पद रिक्त है जिसके चलते शिक्षा व्यवस्था में बाधा उत्पन्न हो रही है ।
उन्होंने कहा कि राज्य बनने के बाद जनता को उम्मीद थी कि यहां सरकारी शिक्षा व्यवस्था में परिवर्तन आयेगा लेकिन जनता को आज तक निराशा ही मिली ।
कहा कि कई बार सामने आया है कि सरकारी विद्यालयों में 70 से 80 प्रतिशत पद रिक्त चल रहे हैं जो चिंतनीय विषय है ।
उन्होंने कहा कि राज्य बनने के बाद किसी भी सरकार ने सरकारी शिक्षा व्यवस्था को पटरी पर लाने के लिए कोई प्लानिंग नहीं बनाई, जिसके चलते आज भी लोग चिंतित नजर आते हैं।
सरकारी विद्यालयों में शिक्षक ना होने से विद्यार्थियों को भारी नुकसान हो रहा है, उन्होंने मांग की है कि विधानसभा के आगामी सत्र में प्रस्ताव लाकर उत्तराखंड की जनता को एक उपहार दें ताकि विधायक निधि की धनराशि से उत्तराखंड के सरकारी विद्यालयों में रिक्त पदों की जगह गेस्ट फैकल्टी नियुक की जाए ।
जिला पंचायत सदस्य जगत मर्तोलिया ने उत्तराखंड के 70 विधायकों से सवाल उठाया है कि अगर 24 वर्षों में विधायक निधि से किसी भी विधायक ने कोई नवाचार किया है तो वह अपनी सक्सेस स्टोरी को सार्वजनिक करें ।
उन्होंने कहा कि विधायक निधि का प्रयोग केवल कार्यकर्ताओं की सेवा के लिए हो रहा है इसलिए यह विधायक निधि कम कार्यकर्ता निधि ज्यादा हो गई है उन्होंने कहा कि राज्य के विधायकों को स्वयं आगे आकर इस विधायक निधि से सरकारी विद्यालयों में गेस्ट टीचर रखने की पहल के लिए आगे आना चाहिए।