अनुज नेगी
लैंसडाउन।सरकारी धन का गबन करने वाले फरार आरोपी पीडब्ल्यूडी कनिष्ठ सहायक को पुलिस ने किया गिरफ्तार कर जेल भेज दिया।
बातादें प्रान्तीय लोक निर्माण विभाग लैंसडाउन के अधिशासी अभियन्ता प्रेम सिंह बिष्ट ने 6 माह पूर्व में कोतवाली लैन्सडाउन पर प्रथम सूचना रिपोर्ट दर्ज करायी कि PWD कार्यालय लैन्सडाउन में तैनात कनिष्ठ सहायक प्रमेन्द्र सिंह पुत्र स्व0 लक्ष्मण सिंह द्वारा ठेकेदारों की 10% धन की कुल ₹ 31,75,096/- धनराशि को वापस न कर राजकीय धन का गबन किया है।
प्रथम सूचना रिपोर्ट के आधार पर कोतवाली लैन्सडाउन पर मु0अ0सं0-09/2022, धारा-420/409 भादवि पंजीकृत कर विवेचना रियाज अहमद वरिष्ठ उपनिरीक्षक के सुपुर्द की गयी। अभियोग की विवेचनात्मक कार्यवाही के दौरान प्रकाश में आया कि अभियुक्त द्वारा राजकीय कर्मचारी होते हुए देयक बाउचर्स की आँनलाईन फीडिंग व डिपोजिट कार्य के दौरान पंजीकृत ठेकेदारों के 10% की धनराशि अपने रिश्तेदारों व परिचितों के बैंक खातों में हस्तान्तरित कर सरकारी धन का दुरुपयोग एवं कर्तव्य के दौरान वैध पारितोषिक से भिन्न लाभ प्राप्त किया गया।
अभियुक्त प्रमेन्द्र सिंह के विरुद्ध दौराने विवेचना साक्ष्य संकलन के आधार पर उक्त अभियोग में धारा- 467/468/471 भादवि एवं 13(1)(2) भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम-1988 की बढोत्तरी की गई। प्रकरण में धारा-13(1)(2) भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम-1988 की बढोत्तरी होने के कारण विधि सम्मत व्यवस्था के अनुरूप उक्त अभियोग की अग्रिम विवेचना विभव सैनी, पुलिस उपाधीक्षक ऑपरेशन के सुपुर्द की गयी। चूँकि प्रकरण सरकारी धन के गबन एवं 13(1)(2) भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम-1988 से सम्बन्धित था जिस कारण अभियुक्त की गिरफ्तारी पुलिस के लिये चुनौती बनी हुयी थी।
वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक पौड़ी गढ़वाल श्रीमती श्वेता चौबे द्वारा भ्रष्टाचार के खिलाफ जीरो टॉलरेंस की नीति अपनाने* तथा किसी भी सूरत में भ्रष्टाचारियों को न बख्शनें के सख्त दिशा निर्देश निर्गत किये गये थे। निर्गत दिशा निर्देशों के क्रम एवं प्रकरण की संवेदनशीलता* के दृष्टिगत विभव सैनी, पुलिस उपाधीक्षक ऑपरेशन के नेतृत्व में फरार अभियुक्त की शीघ्र गिरफ्तारी करने हेतु पुलिस टीम का गठन किया गया। गठित पुलिस टीम द्वारा अथक सार्थक प्रयास एवं ठोस सुरागरसी-पतारसी कर सर्विलान्स की मदद से फरार अभियुक्त प्रमेन्द्र सिंह को दिनांक 28.01.2023 को गाँधी चौक लैन्सडाउन के पास से गिरफ्तार* किया गया। अभियुक्त के आपराधिक इतिहास की जानकारी की जा रही है। गिरफ्तारशुदा अभियुक्त को मा0 न्यायालय के समक्ष पेश कर आवश्यक वैधानिक कार्यवाही की जा रही है।