स्टोरी(कमल जगाती,नैनीताल):- उत्तराखण्ड उच्च न्यायालय ने पॉक्सो एक्ट में आपसी समझौता करने के मामले में दायर याचिका पर सुनवाई करते हुए समझौते को निरस्त कर दिया और अभियुक्त को न्यायालय से ही जेल भेज दिया। न्यायमूर्ति शरद कुमार शर्मा की एकलपीठ ने एस.एच.ओ.रुद्रपुर को निर्देश दिए हैं कि पीड़िता और उसकी माता को पुलिस सुरक्षा दी जाय।
मामले के अनुसार रुद्रपुर निवासी पीड़िता ने रुद्रपुर थाने में 2022 को प्राथमिकी दर्ज कराकर कहा था कि उसके पिता की दो शादियां हैं। उसके पिता किसी अन्य केस के चलते जेल में हैं। जब वह 9 साल की थी तब उसके साथ पिता व चाचा ने दुशकर्म किया। उसके चाचा सलीम शलमानी बार बार उन्हें समझौते के लिए दवाब डाल रहे हैं। अपनी जान माल की डर से वो बड़ी मुश्किल से समझौते के लिए तैयार हुए हैं। आज सुनवाई के दौरान पीड़िता ने कहा कि उन्हें और उनकी माता को जानमाल का भय है। न्यायालय ने इस बात का संज्ञान लेकर याचिका को निरस्त करते हुए आरोपी चाचा को जेल भेज दिया, साथ में पीड़िताओं को पुलिस सुरक्षा देने के आदेश दिए हैं।