स्टोरी(कमल जगाती, नैनीताल):-
उत्तराखंड उच्च न्यायालय ने राज्य के रिटायर कर्मचारीयो से स्वास्थ्य बीमा के नाम पर जबरन उनकी पेंशन से स्वाथ्य बीमा का हर माह पैसा वसूलने के खिलाफ दायर जनहित याचिका पर सुनवाई करते हुए स्वाथ्य सचीव और मुख्य सचिव से चार सप्ताह में जवाब पेश करने को कहा है।
मामले की सुनवाई मुख्य न्यायधीश आर.एस.चौहान और पन्यायमूर्ति आलोक कुमार वर्मा की खण्डपीठ में हुई। \
अधिवक्ता अभिजय नेगी ने बताया कि, देहरादून निवासी गणपत सिंह बिष्ठ व अन्य ने जनहित याचिका दायर कर कहा कि, राज्य सरकार ने स्वाथ्य बीमा के नाम पर उनकी अनुमति के बिना 21 दिसम्बर 2020 को एक शासनादेश जारी कर उनकी पेंशन से अनिवार्य कटौती एक जनवरी 2021 से शुरू कर दी है।
याचिकर्ताओ का कहना है कि, यह उनकी व्यक्तिगत सम्पति है, सरकार इसपर इस तरह की कटौती नही कर सकती। यह असंवैधानिक है। पूर्व में यह व्यवस्था थी कि, कर्मचारीयो का स्वाथ्य बीमा सरकार खुद वहन करती थी परन्तु अब सरकार उनके पेंशन से स्वयं हर महीने काट रही है। लिहाजा इस सम्बंध में जारी पूर्व व्यवस्था को लागू किया जाए।