बाबा रामदेव की दवा पर हाइकोर्ट ने किया केंद्र सरकार के अधिकारी को नोटिस
रिपोर्ट- कमल जगाती
देहरादून। बाबा रामदेव की कोरोना संक्रमण से निपटने की दवाई संबंधी जनहित याचिका में उच्च न्यायालय ने केंद्र सरकार के असिस्टेंट सॉलिसिटर जनरल को नोटिस जारी किया गया है। मुख्य न्यायाधीश रमेश रंगनाथन और न्यायमूर्ति आरसी खुल्बे की खंडपीठ ने बुधवार एक जुलाई को मामले में सुनवाई तय की है। उच्च न्यायालय नैनीताल में आज बाबा रामदेव के संस्थान पतंजलि की ओर से कोरोना वायरस से निजात दिलाने की दवा, कोरोनील को लांच किए जाने के खिलाफ दायर जनहित याचिका पर सुनवाई हुई।
उधमसिंह नगर के अधिवक्ता मनी कुमार की जनहित याचिका पर सुनवाई हुई। याचिका में कहा गया है कि, बाबा रामदेव और उनके सहयोगी आचार्य बालकृष्ण ने बीती मंगलवार को हरिद्वार में कोरोना वायरस से निजात दिलाने के लिए पतंजलि योगपीठ की दिव्य फॉर्मेशी कम्पनी द्वारा निर्मित कोरोनिल दवा को लांच करने के लिए प्रेस वार्ता की थी। बाबा रामदेव की दवा कंपनी ने आईसीएमआर द्वारा जारी गाइड लाइनों का पालन नहीं किया और न ही भारत सरकार के आयुष मंत्रालय की अनुमति ली।
आयुष विभाग उत्तराखंड से कोरोना की दवा बनाने के लिए आवेदन तक नहीं किया गया है। आरोप लगाया गया है कि, जो आवेदन किया था वह रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने के लिए किया गया था। उसी की आड़ में बाबा रामदवेव ने कोरोनिल दवा का निर्माण किया। खण्डपीठ ने केंद्र सरकार के असिस्टेंट सॉलिसिटर जनरल को नोटिस जारी कर मामले की सुनवाई बुधवार यानी कल के लिए निहित की है।