स्टोरी(कमल जगाती, नैनीताल):- उत्तराखंड उच्च न्यायालय ने मनेरी भाली डैम के सामने वाली चट्टान को डैम प्रबंधन द्वारा तोड़े जाने के खिलाफ दायर जनहित याचिका पर सुनवाई करते हुए अल्फा पेसिफिक सिस्टम प्रा.ली.के ठेकेदार को नोटिस जारी कर तीन सप्ताह में जवाब पेश करने को कहा है।मुख्य न्यायधीश विपिन सांघी और न्यायमूर्ति राकेश थपलियाल की खण्डपीठ ने मामले की अगली सुनवाई 2 नवम्बर के लिए तय की है।
मामले के अनुसार मनेरी भाली निवासी राजेन्द्र सिंह चौहान ने जनहीत याचिका दायर कर कहा कि मनेरी भाली डैम के समीप एक चट्टान है जिसे तोड़ने का ठेका डैम प्रबंधन ने दे दिया है। चट्टान के ऊपर गाँव, पुराना मंदिर और फारेस्ट भूमि है। चट्टान को तोड़ने से गाँव, मंदिर और फारेस्ट को भविष्य में बड़ी क्षति ही सकती है और डैम का पानी तेजी से बहेगा जिससे निचली तरफ होने वाली कृषि भूमि को भी नुकसान हो सकता है। जनहित याचिका में न्यायालय से प्रार्थना की गई कि चट्टान को तोड़ने पर रोक लगाई जाय। इससे भविष्य में आने वाले संकट से बचा जा सकेगा। जनहीत याचिका में सचिव ऊर्जा, सचिव वन एवं पर्यावरण, निदेशक जल विद्युत निगम, मनेरी भाली परियोजना, जिलाधिकारी उत्तरकाशी, उपजिलाधिकारी भटवारी, डी.एफ.ओ. कोटबंगला और राज्य प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड को पक्षकार बनाया गया है।