दीपावली मे दिल्ली के लिए दिए गए सुप्रीम कोर्ट के आदेश से भी सजग दिखे देशवासी
कुलदीप एस. राणा
पटाखों पर पाबन्दी का सुप्रीम कोर्ट का आदेश भले ही राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली वासियों पर लागू हो लेकिन उसका असर उत्तराखंड की राजधानी देहरादून में भी देखने को मिला है।
यह दीपावली दूनघाटी के लिए प्रदुषण मुक्त दून की उम्मीद लेकर आई। दून की फिजाओं में पटाखों का शोर भी कुछ कम रहा और इनसे इससे निकलने वाली जहरीली गैसें पिछले साल की तुलना मे दून की हवाओं को कम ही प्रभवित कर सकीं।
उत्तराखंड प्रदुषण नियंत्रण बोर्ड के क्षेत्रीय अधिकारी एसएस राणा बताते हैं कि हर वर्ष की भांति इस वर्ष भी दीपावली की रात को पीसीबी द्वारा देहरादून के विभिन्न इलाकों से आतिशबाजी के कारण होने वाले वायु एवं ध्वनि प्रदुषण के आंकड़े एकत्रित किये गए
जिनके अध्ययन से पता चला कि इस दीपावली देहरादून के वायुमंडल में रिस्पाइरेबले पार्टिकुलेट पार्टिकल्स ( आरएसपीएम ) का स्तर बीते वर्षों की अपेक्षा काफी कम है। घंटाघर,रायपुर और नेहरू कॉलोनी के क्षेत्र में प्रदुषण स्तर मापने के लिए लगाई गयी मशीनों से प्राप्त आंकड़ों के अनुसार घंटाघर -166.17, रायपुर-267.78 व् नेहरू कॉलोनी – 273.44 माइक्रोन प्रति घनमीटर वायु प्रदुषण पाया गया। जो वर्ष 2016 की तुलना में घंटाघर-240 ,रायपुर रोड- 253.12 नेहरूकाॅलोनी -369.9 माइक्रोन प्रति घनमीटर की तुलना में काफी कम है। साथ ही ध्वनिप्रदुषण के स्तर में भी गिरावट दर्ज की गई।
इन सब के बावजूद वातावरण में सल्फर डाई ऑक्साइड ,नाइट्रोजन आक्साइड और आरएसपीएम की मात्रा बेहद खतरनाक स्थिति में हैं। सामान्य दिनों में इन जगहों पर प्रदूषण का स्तर घंटाघर -143.5, रायपुर -120. 73 और नेहरू कॉलोनी 156. 58 माइक्रोन प्रति घनमीटर पाया जाता है। मानकों के अनुसार आरएसपीएम की मात्रा हवा में 100 माइक्रोन प्रति घनमीटर होने चाहिए जो अभी भी दुगने स्तर पर ही है।
आतिशबाजी से वायुमंडल में खतरनाक गैसों के छोटे-छोटे जहरीले कण आ जाते हैं।और दूनघाटी की भौगोलिक बनावट के कारण मसूरी से आने वाली हवाएं इन्हे ऊपर उठने से रोकती हैं। जिससे ये घाटी में ही तैरते रहते हैं। डॉक्टर्स के अनुसार ये जहरीले गैसें न सिर्फ दमे के मरीजों के लिए बल्कि आम आदमी के लिए स्वास्थ्य के लिए भी काफी नुकसान दायक होती हैं। जिससे साँस के माध्यम से ये कण इंसान के फेफड़ों में जमा हो जाते हैं। (आवरण फोटो/देहरादून घंटाघर:साभार प्रसिद्ध ट्रैवल छायाकार श्रीअरविंद शर्मा )