कृष्णा बिष्ट,कपकोट//
बागेश्वर जनपद के अंतर्गत कपकोट विकासखंड मे PMGSY भ्रस्टाचार और अनिमितायो का अड्डा ही नहीं बना है बल्कि यहाँ विभागीय अधिकारियों की धान्द्ली भी चरम पर है, आलम यह है की विभाग पर कई बार अपने चहेतो को ठेके देने के लिए सारे नियम कानून ताक पर रख करोड़ो के टेंडर ही नहीं बल्कि कई निर्माणाधीन मार्गो का धरातल पर निर्माण पूरा होने से पहले ही पेमेंट कर देने के भी आरोप लगते रहे हैं ।
पर्वतजन ने इस बाबत जब विभाग से सूचना मांगी तो विभाग ने गोलमोल सूचना देके पल्ला झाड़ने की भरकस कोशिश की, विभाग से ०१ जुलाई को डिस्पैच डाक को २५ जुलाई को पोस्ट-आफिस मे भेजा गया लगभग पूरे एक माह तक विभाग द्वारा सूचना को दबाये रखा.
सूत्रों के अनुसार विकासखंड कपकोट के अंतर्गत रीखाड़ी-वाछम-बदियाकोट, रीखाड़ी से सोराग धुर- वाछम आदी तक की कुछ सड़के है जिन की जाँच की आंच कई अधिकारियों के हाथ जला सकती है, यही हाल कुछ रीखाड़ी-मुनार बैंड से सूपी जसे मोटर मार्ग का भी है, यही कारण है कपकोट तहसील की लगभग आधा दर्जन से अधिक सड़कों की जाँच छेत्रिय विधायक के कहने पर चल रही है.
चर्चाओ का बाज़ार तो यहाँ तक गर्म है की विभाग ने बगैर इस्टीमेट के ही पूर्व मे अपने चहेते ठेकेदारों को पेमेंट कर तो दी, किन्तु अब विभागिय अधिकारी अपनी गर्दन बचाने को तत्कालीन सेवानिर्वित अधिकारी के घर जाकर बेक डेट मे इस्टीमेट लेटर पर हस्ताक्षर करवा रहे हैं.
” मुझे भी कपकोट तहसील की सडकों मे अनिमित्ताओ की शिकायत लगातार मिल रही थी, इस लिये मैने इस तहसील की सभी सड़को की जाँच करवाई है जिस की रिपोर्ट आना अभी बाकी है.” विधायक कपकोट
”विगत एक वर्ष से ये सडके मेरे पास हैं, जिन मे जोभि अन्नीमित्ता के आरोप है वो सब निराधार है.”
मनोज भट्ट, ए.ई