सुमित जोशी//रामनगर(नैनीताल)।
दिशा विहीन छात्र राजनीति अब भूली अभिभावकों का सम्मान।
– राज्य महिला आयोग की पूर्व उपाध्यक्ष के खिलाफ फेसबुक पर की आपत्तिजनक टिप्पणी।
– बीते सालों फेसबुक टिप्पणी के कारण कॉलेज में भिड़े थे छात्र गुट।
शिक्षा और संस्कार के साथ उच्च शिक्षा ग्रहण करने वाले छात्रों में लोकतांत्रिक समझ विकसित करने के लिए डिग्री कॉलेजों में होने वाले छात्र संघ चुनाव मुख्य धारा की राजनीति के हस्तक्षेप के चलते बीते सालों में संघर्षों के कम बल्कि नेताओं की साख का सवाल ज्यादा बन चुके है। जिसके कारण बीते सालों में छात्र संघ चुनाव के दौरान हुए छात्र गुटों के झगड़े बहुत से छात्रों का भविष्य भी खराब कर चुके हैं। लेकिन इस बार रामनगर की छात्र राजनीति अपने आकाओं के इशारे में अभिभावकों के लिए अमर्यादित टिप्पणी करने से भी नहीं चूक रही है।
कुमाऊ विश्वविद्यालय द्वारा छात्र संघ चुनावों का ऐलान करने बाद सम्भावित प्रत्याशी और उनके समर्थक छात्रों को अपने पक्ष में करने के लिए कॉलेज परिसरों में चुनाव प्रचार करते नजर आ रहे हैं। साथ ही सोशल मीडिया का इस्तेमाल अपने प्रत्याशी के प्रचार के लिए जमकर कर रहे हैं। लेकिन सोशल मीडिया के प्रचार तंत्र का इस्तेमाल पर्दे के पीछे रह कर चुनाव को प्रभावित करने वाले छात्र नेताओं के आका जमकर कर रहे हैं और इसके लिए वो समर्थक छात्रों से अपने राजनीतिक लाभ के लिए उनकी फेसबुक वॉल पर अलग अलग प्रकार की पोस्टें भी डलवा रहे हैं। एक मामला बुधवार को सामने आया है एक छात्र संघ के पूर्व पदाधिकारी द्वारा अपनी फेसबुक वॉल पर महिला आयोग की पूर्व उपाध्यक्ष के लिए आपत्तिजनक टिप्पणी की गई थी। जो छात्र नेताओं और राजनीति के गलियारों में चर्चाओं का विषय बन गई। कुछ जानकार इस फेसबुक पोस्ट को छात्र संघ चुनाव से जोड़कर देख रहे हैं। उनका मानना है कि प्रतिद्वंदी प्रत्याशी के समर्थक छात्र नेता को उसकी मां पर आपत्तिजनक टिप्पणी कर मनोवैज्ञानिक रूप से तोड़ने का प्रयास किया जा रहा है। लेकिन उन्होंने ये भी कहा है कि छात्र संघ चुनाव की आड़ लेकर राज नेता अपने राजनीतिक प्रतिद्वंदी को साधने का प्रयास कर रहे हैं और आकाओं के बताए रास्ते पर चल रहे छात्र नेता चुनाव के कारण अभिभावकों के लिए अपमान भरे शब्द सोशल मीडिया पर लिखे रहे हैं जो छात्र राजनीति के सही नहीं है। ये पहला मामला नहीं है जब किसी नेत्री के लिए छात्र नेताओं ने आपत्तिजनक शब्द लिखे हो कुछ महीने पहले एक भाजपा नेत्री के लिए जमकर आपत्तिजनक शब्द लिखे थे। बीते सालों छात्र संघ चुनाव के दौरान पीएनजी कॉलेज में फेसबुक पोस्ट पर हुए विवाद के बाद एबीवीपी और एनएसयूआई कार्यकर्ता भिड़े थे। जिसके बाद दर्जनभर से ज्यादा छात्रों पर मुकदमे दर्ज हुए थे। इस बार फिर फेसबुक पोस्ट पर हो रहे विवादों से चुनाव प्रभावित होने की आशंका बढ़ रही है। बीते दिनों भी एक फेसबुक पर एक छात्र कुछ तथाकथित छात्र नेताओं द्वारा धमकी देने का मामला सामने आ चुका है।