भारत की पहली महिला अधिवक्ता रहीं है कॉर्नेलिया
सुमित जोशी।
भारत की पहली महिला अधिवक्ता कॉर्नेलिया सोराबजी की 151 वीं जयंती के अवसर पर सर्च इंजन गूगल ने अपना डूडल उनको समर्पित किया। हमारे समाज में महिलाओं को वकालत करने का अधिकार दिलाने का श्रेय भी उनको जाता है।
15 नवम्बर 1866 को नासिक में जन्मी कॉर्नेलिया 1892 में नागरिक कानून की पढ़ाई के लिए विदेश गई। ये एक ऐसे दौर था जब हमारे समाज में महिलाओं को न ही समाज के लिए मुखर होने की स्वतंत्रता थी और न ही वकालत करने की इजाजत थी। 1907 के बाद इनको बंगाल, बिहार, उड़ीसा और असम में सहायक अधिवक्ता का पद मिला। साथ ही अपनी प्रतिभा की बदौलत इन्होंने महिलाओं को परामर्श देना प्रारम्भ किया। 1929 में हाईकोर्ट से इनकी सेवानिवृत्त वरिष्ठ अधिवक्ता के रूप में हुई। इसके अलावा इन्होंने 1902-1932 तक समाज जागृति के लिए कई पुस्तकें लिखी। लेकिन 6 जुलाई 1954 को लन्दन में इनका देहांत हो गया।