देहरादून – उत्तराखंड के युवाओं ने एक बार फिर साबित कर दिया है कि प्रतिभा, नवाचार और जज्बे के साथ यदि कुछ अलग करने की ठान ली जाए तो राष्ट्रीय ही नहीं, अंतरराष्ट्रीय मंचों पर भी पहचान बनाई जा सकती है। देवभूमि के चार युवाओं ने क्रिएटिविटी और तकनीक की दुनिया में ऐसा कमाल किया कि उनके नवाचारों को मुंबई में आयोजित वर्ल्ड ऑडियो विजुअल एंटरटेनमेंट समिट (वेव्स) में देशभर के 115 प्रोजेक्ट्स में से चुना गया और मंच से उन्हें स्वयं प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सराहना भी प्राप्त हुई।
उत्तराखंड के चार युवा बने आकर्षण का केंद्र
इस प्रतिष्ठित समिट में उत्तराखंड के मृदुल जोशी, प्रियांशी राय, कार्तिक गुप्ता और कार्तिक महाजन ने अपने-अपने क्षेत्र में नवाचार पेश किया, जो तकनीक, संस्कृति और रचनात्मकता का बेहतरीन मिश्रण था।
अल्मोड़ा के मृदुल जोशी गोब्लिन काल गेम बनाकर लाए हैं। इस गेम को क्रिएट इन इंडिया चैलेंज सीजन एक के रोड टू गेम जैम प्रतियोगिता के शीर्ष 10 फाइनलिस्ट में चुना गया है। इस प्रतियोगिता के लिए 175 आवेदन आए थे। उनमें से 115 को प्रतिभा दिखाने का मौका मिला। इसमें मृदृल शीर्ष 10 में शामिल रहे।
बिपिन त्रिपाठी कुमाऊं प्रौद्योगिकी संस्थान, द्वारहाट से कंप्यूटर साइंस में बीटेक कर रहे मृदृल ने वीडियो गेम खेलने के शौक से खुद गेम बनाने की यात्रा तय की है। वह अब तक 13 गेम बना चुके हैं। वेव्स के लिए उन्होंने तीन महीने में गेम तैयार कर दिया।
देहरादून के यूपीईएस साइंस के छात्र कार्तिक गुप्ता और प्रियांशी राय समाचारों के तथ्यों की जांच के लिए एप लेकर आए हैं। उनका यह एप सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय और इंडिया सेलुलर एंड इलेक्टानिक्स एसोसिएशन की ओर से आयोजित टूथलेट हैकाथान में देश के पांच सर्वश्रेष्ठ एप में चयनित होकर 10 लाख का पुरस्कार जीत चुका है
कार्तिक महाजन की फिल्म ‘फूलदेई’ बनी वेव्स की शान
देहरादून के कार्तिक महाजन की एनिमेटेड फिल्म ‘फूलदेई’ को वेव्स समिट में सबसे अधिक सराहना मिली। यह फिल्म देशभर से आई 26 एनिमेटेड फिल्मों में शीर्ष 10 में शामिल हुई। फिल्म में उत्तराखंड की नैसर्गिक सुंदरता, लोकगाथाएं और परंपराओं को रचनात्मक ढंग से दर्शाया गया है।
यह फिल्म अब तक विश्व के 70 से अधिक मंचों पर प्रदर्शित की जा चुकी है और लगातार प्रशंसा बटोर रही है।
प्रधानमंत्री ने की युवाओं की तारीफ
वेव्स समिट में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के वक्तव्य के दौरान जब इन नवाचारों का जिक्र हुआ, तो मंच पर उपस्थित हजारों दर्शकों ने जोरदार तालियों से उत्तराखंड के युवाओं का स्वागत किया। प्रधानमंत्री की सराहना से इन होनहारों का उत्साह और बढ़ गया है।
नवाचार के जरिए उत्तराखंड की पहचान
चारों युवा न केवल अपनी प्रतिभा से देशभर में छा गए, बल्कि उत्तराखंड की संस्कृति, तकनीक और सोच को एक नई पहचान भी दिलाई है। यह सफलता राज्य के अन्य युवाओं के लिए प्रेरणा का स्रोत बनेगी।